जिमी एक पिता, दोस्त और चिकित्सक होने का फ़र्ज़ निभाते हुए अपनी पत्नी की मृत्यु का शोक मनाने की कोशिश कर रहा है। वह उसके सामने आने वाले हर इंसान के साथ एक नया दृष्टिकोण अपनाने का फैसला करता है : बिना किसी लागलपेट के, विशुद्ध ईमानदारी। क्या इससे हालात बेहतर होंगे—या सब कुछ उथल-पुथल हो जाएगा?